
एक महिला आज अपनी बलात्कार पीड़ित बालिका को लेकर रतलाम के कलेक्टर पहुंची।महिला कलेक्टर से मिलकर अपनी बेटी के पेट में पल रहे 5 माह के गर्भ को गिराने की अनुमति चाहती थी महिला को कलेक्टर तो नहीं मिले लेकिन महिला बाल विकास विभाग के अधिकारी ने मामले को संज्ञान में लेकर महिला और उसकी पुत्री को सीडब्ल्यूसी के पास भेजा।महिला बाल विकास विभाग अधिकारी का कहना था की मामला गर्भपात की अनुमति का है इसलिए पूरी तरह से देख कर कोई निर्णय लिया जाएगा।अवधिनागर ज्यादा ही गयी होगी तो हाई कोर्ट ही इस मामले में अनुमति दे सकता है। महिला जावरा की निवासी है और उसकी पुत्री के साथ करीब 5 माह पहले उसके एक रिश्तेदार ने जबरदस्ती गलत काम किया था उस रिश्तेदार ने उसकी पुत्री को डरा धमका भी दिया था जिसके कारण से इस घटना को पीड़ित बालिका अपनी माता को बता नहीं पाई थी लेकिन जब पुत्री का पेट बड़ा और कुछ स्वस्थ बिगड़ा तो महिला अपनी बेटी को लेकर हॉस्पिटल पहुंचे तब जाकर यह मामला उजागर हुआ था महिला ने अपनी पुत्री से सारी घटनाक्रम की जानकारी ली और जावरा शहर थाने में पुलिस रिपोर्ट दर्ज कराई ।आरोपी के खिलाफ पुलिस ने प्रकरण दर्ज कर गिरफ्तार किया। पुलिस ने न्यायालय में पेश किया गया न्यायालय ने आरोपी को जेल भेज दिया। पीड़ित बालिका के पेट में 5 माह का गर्भ है ऐसे में उसकी मां चाहती है की उसकी बच्ची के गर्भपात की अनुमति मिल जाए । महिला ने गर्भपात की अनुमति के लिए पहले जावरा पुलिस थाने में आवेदन दिया था। वहां से महिला को रतलाम कलेक्टर कार्यालय भेज दिया गया। महिला आज अपनी बेटी के साथ कलेक्टर कार्यालय पहुची थी। जहां महिला बाल विकास विभाग अधिकारी ने महिला से मिलकर उससे मामले की जानकारी लेकर महिला और उसकी पुत्री को बाल कल्याण समिति के पास भेजा अब इस बाल कल्याण समिति आगे की कार्रवाई करेगी।